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Dastan-E-Shayara By Reena Kumari Prajapat

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The Flower of WordThe Flower of Word by Vedvyas Mishra
The Flower of WordThe novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra

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The novel 'Nevla' (The Mongoose), written by Vedvyas Mishra, presents a fierce character—Mangus Mama (Uncle Mongoose)—to highlight that the root cause of crime lies in the lack of willpower to properly uphold moral, judicial, and political systems...The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra

कविता की खुँटी

                    

एक इंसान लिखूंगा

मैं तुम्हें साड़ी से लिपटी ,
गहनों के भर से झुकी,
जिम्मेवारियों के तले ,
घर के चार दीवारों में कैद ,
दबी हुई स्त्री नहीं लिखूंगा ।
यह तुम्हारी ललाट की बिंदी,
कानों के झुमके ,
आंखों में काजल,
पैरों में पायल,
नाक की नथुनी,
को लिखकर मैं ,
तुम्हारे चेहरे की सुंदरता का,
बखान नहीं करूंगा।
मै तुम्हे इस समाज को,
ललकारते हुए,
उनके बनाए किवदंतियों को,
ध्वस्त करते, परंपराओं को तोड़ते,
माइक से गरजते ,
तर्क –वितर्क करते ,
सड़कों पर ढ़ेर रात्रि,
बेफिक्री से सफ़र करते,
आपने ख़्वाबों के साथ,
आजाद पंछी के भांति ,
गगन में उड़ते लिखूंगा,
मै तुम्हे स्त्री लिखने से पूर्व,
एक इंसान लिखूंगा ।




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रचना के बारे में पाठकों की समीक्षाएं (7)

+

Nand Kishor said

बहुत ही सुन्दर रचना, लाजबाब 👌👍

फ़िज़ा said

Wah kya khub likha hai, lazwab

सरिता पाठक said

बहुत सुन्दर रचना 👌उत्कर्ष को प्यारा sa नमस्कार 🙏, माफ करना मैंने तुम्हें उत्कर्ष जी नहीं लिखा, क्योंकि मेरे बेटे का नाम भी उत्कर्ष है वैसे आपने बहुत ही अच्छी रचना लिखी है लाजबाब 👌👌

मनोज कुमार सोनवानी "समदिल" said

वाह!! उत्कर्ष जी, नारी शक्ति की यथार्थता को बड़ी भावुकता से सजाया है आपने।। नमस्कार 🙏🌹

रीना कुमारी प्रजापत said

बहुत सुंदर 🙏

सुभाष कुमार यादव said

बहुत सुंदर भावाभिव्यक्ति। आपकी लेखनी एवं विचार दोनों को नमन।🙏🙏

सुप्रिया साहू said

मै तुम्हे स्त्री लिखने से पूर्व,
एक इंसान लिखूंगा...।।
बहुत सुंदर रचना सर 👌👌, आपको सादर प्रणाम 🙏🙏।

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