शायरी कुछ और नहीं,
लब्ज़ है हालात की !!
दिल के बिखरे साज़ की,
बिखरे से अहसास की !!
टूटते-बनते रिश्तों की,
बिलकुल आसपास की !!
शायरी कुछ और नहीं,
नब्ज़ है आदाब की !!
जो न चेहरे से ज़ाहिर हो,
बतायें कैसे !!
तुम्हीं बतला दो दिखाएं,
या छुपायें कैसे !!
----वेदव्यास मिश्र
सर्वाधिकार अधीन है

The Flower of Word by Vedvyas Mishra
The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra



The Flower of Word by Vedvyas Mishra




