हमारे एक बार अपनाए अंदाज़ को,
वो दूसरी बार नज़रअंदाज़ कर देते हैं।
इसलिए हम अपने अंदाज़,
बार - बार बदल लेते हैं।
हम हमेशा नए - नए तरीकों की
तलाश में रहते हैं ,
क्योंकि वो हमसे बात करना बंद कर देते हैं।
जब आज़माते हैं हम नए तरीके,
तो वो भी हमसे बात कर लेते हैं।
उनसे हंसी ठिठोली करने के
बहाने कई आते हैं हमे,
पर हमारे हर बहाने को वो
तवज्जो नहीं देते हैं।
लेकिन कुछ बहाने ऐसे होते हैं हमारे,
कि वो चाहकर भी खुद को रोक नहीं पाते
और हमसे मुख़ातिब हो लेते हैं।
✍️ रीना कुमारी प्रजापत ✍️
सर्वाधिकार अधीन है

The Flower of Word by Vedvyas Mishra
The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra



The Flower of Word by Vedvyas Mishra




