है हुनर तो दिखा दे अपना जलवा।
जो है किसी के बस की बात नहीं
तू बता दे उसको हलवा।
दिखा दे अपना जलवा...
ये दुनियां तुझे हर बात पे टोकेगी ।
तू कुछ भी करेगा उसको रोकेगी।
मत भूल की तू आसमानों के लिए
बना है।
ये आंधियां तेरा क्या बिगड़ेंगीं।
तू चट्टानों के जैसा खड़ा है।
हौसलें तेरे प्रखर हैं ।
आ जाओ तुम निखर के।
है तुझमें अदम्य साहस हिम्मत
तू भविष्य है कल के ।
चटा दे तू दुश्मनों को धूल।
तू हीं तो है जन्नत का फूल।
उज्जवल भविष्य तेरे काटे स्याह रात।
तू हीं तो है भारत का लाल ।
कर दे तू कुछ नया कमाल ।
उठा दे तू भारत का भाल ।
चट्टानों सा इरादों को कर ।
इल्तेजाओं को अपनी पूर्ण कर।
डर को तू चूर्ण कर।
चिंता चाट फिकर को फांक जा ।
हर मुश्किल को लांघ जा ।
है तू हूनरबाज
अब दिखा दे तू हुनर अपना।
खिला दे तू सबको हलवा
दिखा दे तू अपना जलवा...
दिखा दे तू अपना जलवा...

The Flower of Word by Vedvyas Mishra
The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra



The Flower of Word by Vedvyas Mishra




