Newहैशटैग ज़िन्दगी पुस्तक के बारे में updates यहाँ से जानें।

Newसभी पाठकों एवं रचनाकारों से विनम्र निवेदन है कि बागी बानी यूट्यूब चैनल को सब्सक्राइब करते हुए
उनके बेबाक एवं शानदार गानों को अवश्य सुनें - आपको पसंद आएं तो लाइक,शेयर एवं कमेंट करें Channel Link यहाँ है

Show your love with any amount — Keep Likhantu.com free, ad-free, and community-driven.

Show your love with any amount — Keep Likhantu.com free, ad-free, and community-driven.



The Flower of WordThe Flower of Word by Vedvyas Mishra The Flower of WordThe novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra

कविता की खुँटी

        

Newहैशटैग ज़िन्दगी पुस्तक के बारे में updates यहाँ से जानें।

Newसभी पाठकों एवं रचनाकारों से विनम्र निवेदन है कि बागी बानी यूट्यूब चैनल को सब्सक्राइब करते हुए
उनके बेबाक एवं शानदार गानों को अवश्य सुनें - आपको पसंद आएं तो लाइक,शेयर एवं कमेंट करें Channel Link यहाँ है

The Flower of Word by Vedvyas MishraThe Flower of Word by Vedvyas Mishra
Dastan-E-Shayara By Reena Kumari Prajapat

Dastan-E-Shayara By Reena Kumari Prajapat

The novel 'Nevla' (The Mongoose), written by Vedvyas Mishra, presents a fierce character—Mangus Mama (Uncle Mongoose)—to highlight that the root cause of crime lies in the lack of willpower to properly uphold moral, judicial, and political systems...The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra

कविता की खुँटी

                    

सुनो सुनो - नेत्र प्रसाद गौतम

सुनो सुनो ये क्या कर रहे हो ?
तुम सिर्फ अपना ही पेट भर रहे हो
पैसा कमाते हो कमाओ जरूर
पैसे से अपना जेब भरो
मगर पैसे का ढंग से सदुपयोग भी तो करो
तुम होटल पर ज्यादातर जाते हो
वहां वियर विस्की पी कर मास मछली खाते हो
सिर्फ इतना ही नहीं देर तक फैशन शो देखते हो
अर्ध नग्न डांसर लड़कियों पर बीतोड़ पैसे फेंकते हो
पैसों से दूसरों पर रोब भी मत दिखाओ
इंसान हो तो जरा इंसान बन जाओ
तुम तो बहुत बिगड़ते जा रहे हो
घर में भी तुम बहुत देर से आ रहे हो
सुनो सुनो..... ये कहां सही है
जिन्दगी सिर्फ ऐश करना ही नहीं है
इस धरती पर आ कर तुमने एक अच्छा काम किया तक नहीं
किसी गरीब आदमी को कुछ दिया तक नहीं
एक दिन मरना ही है ईश्वर से तो डरो
मरने से पहले कोई अच्छा काम तो करो
मरने से पहले कोई अच्छा काम तो करो.......

----नेत्र प्रसाद गौतम




समीक्षा छोड़ने के लिए कृपया पहले रजिस्टर या लॉगिन करें

रचना के बारे में पाठकों की समीक्षाएं (4)

+

अशोक कुमार पचौरी 'आर्द्र' said

Bahut achha vishay mahoday... Pranam sweekar karein aur ek sawaal hai aapse gustakhi ke liye maafi chahta hun lekin aapki kavitaon rachnaon ka Nayak/khalnayak bar bar hotel me bear vhiski peene kyu chala jaata hai? Khama karein m aapki rachnaon ki kadra karta hun or unke sandesh ko bhi samjhta hun aap bahut hi achha likhte hain bas aapki pratikriya ke do shabd sunane ko mil jaye din ban jaye.

वन्दना सूद said

अच्छी सोच को बहुत ही सुंदरता के साथ समझाया 👏👏🙌🏻🙌🏻

नेत्र प्रसाद गौतम said

नमस्कार वंदना सूद जी आप ने मेरी इस रचना को प्रशंसा कर कर मुझ को बहुत बड़ा हौसला प्रदान किया है इस के लिए आप को बहुत बहुत धन्यवाद।

उपदेश कुमार शाक्यावार said

अच्छा संदेश 🙏🏻🙏🏻

कविताएं - शायरी - ग़ज़ल श्रेणी में अन्य रचनाऐं




लिखन्तु डॉट कॉम देगा आपको और आपकी रचनाओं को एक नया मुकाम - आप कविता, ग़ज़ल, शायरी, श्लोक, संस्कृत गीत, वास्तविक कहानियां, काल्पनिक कहानियां, कॉमिक्स, हाइकू कविता इत्यादि को हिंदी, संस्कृत, बांग्ला, उर्दू, इंग्लिश, सिंधी या अन्य किसी भाषा में भी likhantuofficial@gmail.com पर भेज सकते हैं।


लिखते रहिये, पढ़ते रहिये - लिखन्तु डॉट कॉम


© 2017 - 2025 लिखन्तु डॉट कॉम
Designed, Developed, Maintained & Powered By HTTPS://LETSWRITE.IN
Verified by:
Verified by Scam Adviser
   
Support Our Investors ABOUT US Feedback & Business रचना भेजें रजिस्टर लॉगिन