मेरी गलियां मेरी नज़्मों से भरी है,
क्या ये नज़्में तेरी गलियों तक भी पहुंची है?
मेरे शायराना अंदाज़ की दीवानी हैं ये मेरी गलियां, क्या तेरी गलियों में भी तुझे ऐसी दीवानगी दिखी है?
मेरी गलियां मेरी नज़्मों से भरी है,
क्या तेरी गलियों में भी मेरी कोई नज़्म लिखी है?
वाह वाही लूटा रही है मेरी नज़्म पर मेरी गलियां,
क्या तेरी गलियों में भी ये सुनाई दे रही है?
मेरी गलियां मेरी नज़्मों से भरी है,
क्या तेरी गलियों ने भी मेरी नज़्म सुनी है?
कायल हो गए लोग यहाँ मेरी नज़्म पढ़कर
यहाॅं हर दिल पर नज़्म मेरी छपी है,
तू तेरे दिल की बता
क्या तेरे दिल पर भी मेरी नज़्म लिखी है?
"रीना कुमारी प्रजापत