देता किसी को दगा नही
लेकिन किसी का सगा नही।
वो करता वफा नही
पर है वो बेवफा नही।
किसी का दुर्भाग्य वो लाता है
किसी को सौभाग्य सौंप जाता है।
ठहरता नही किसी के लिए चलता है दिन रात
चारो तरफ होती है अक्सर उसकी ही बात
अंहकारियो का अंहकार जो पल मे मिटाता है
राजा को रंक जो पल मे बनाता है
अच्छे कर्मो का फल भी दे जाता है
बुरे कर्मो पर मार लगाता है ।
डरता है जिससे हर कोई
ना जाने वो कब धोखा दे जाता है।
करते है जो सद्कर्म उनका साथ भी निभाता है
कुछ और नही वो तो वक्त कहलाता है।
-राशिका