(कविता) (कथा)
किसी पर किसी की निगरानी है
ये कैसी जिंदगानी है
हवा अाैर पानी है
थाेडी सी ब्यथा है
थाेडी फिर कथा है
कैसी राम छाया है
काेई यहां पराया है
काेई दिखता सपना है
काेई यहां अपना है
किसी की उमर बचपन है
किसी की उमर पचपन है
किसी की जवानी है
ये कैसी जिंदगानी है
हवा अाैर पानी है
थाेडी सी ब्यथा है
थाेडी फिर कथा है
काेई यहां माेटा है
काेई यहां खाेंटा है
काेई यहां अस्त है
काेई यहां मस्त है
काेई फिर ब्यस्त है
बडा जबर्दस्त है
यही ताे हैरानी है
ये कैसी जिंदगानी है
हवा अाैर पानी है
थाडी सी ब्यथा है
थाेडी फिर कथा है
काेई यहां भर पेट खाता है
काेई यहां भूखा ही रह जाता है
काेई पीडित हाे रहा
काेई यहां राे रहा
ये ताे बडा घात है
बहुत दुख की बात है
यहां पर यही ताे बेईमानी है
ये कैसी जिंदगानी है
हवा अाैर पानी है
थाेडी सी ब्यथा है
थाेडी फिर कथा है
काेई बर्मचारी है
काेई भीखारी है
काेई अमिर बडा है
काेई दुखी गरीब खडा है
हर किसी से टक्कर है
चक्कर ही चक्कर है
अजिवाें गरीब कहानी है
ये कैसी जिंदगानी है
हवा अाैर पानी है
थाेडी सी ब्यथा है
थाेडी फिर कथा है
थाेडी फिर कथा है.....