करके हमारे दिलों को
उदास, चले गए
जहां में करके बहुत
खास, चले गए!
खूब छेड़ा सितारों को
जब तक धरती पर रहे
सितारों ने बुलाया तो
सितारों के पास, चले गये!
उच्च कोटि कलमकार की
ज़रूरत थी ऊपरवाले को
आकर, चुनकर, परखकर
वो, अपने पास,ले गये!
शब्द, हमारे आंखों से,अब
आंसू बनकर निकल रहे
पहनाकर, अपनी प्रीत का
हमें, वो, लिबास, चले गये!
ऐ मेरे सखा!! मेरे शुभचिंतक!!
ऐ मेरे अनजाने हमसफ़र!!
क्यूं? क्यूं? बीच रास्ते
छुड़ाकर, हमारे हाथ, चले गये!!
सर्व आदरणीय अशोक जी, आसमान में सदा सितारों की तरह झिलमिलाते रहना,हम अपनी आंसुओं से मुस्कराया करेंगे।
हे परमात्मा!! दिव्यात्मा अशोक कुमार जी को अपने चरणों में स्थान देना, उन्हें सद्गति प्रदान करना!! 🌹🌹🙏 ऊं शांति शांति शांति 🙏🌹🌹
सर्वाधिकार अधीन है

The Flower of Word by Vedvyas Mishra
The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra



The Flower of Word by Vedvyas Mishra




