कविता : काल....
हे इंसान
जरा दे ध्यान
तुझ से है सवाल
क्यों करता बबाल ?
खुद बनता मॉल
दूसरे को करे कंगाल
अपने को सम्भाल
कब मिलाएगा ताल ?
कर दूसरों का ख्याल
एक दिन होगा ये हाल
तेरे घर से निकाल
तुझ को... ले जाएगा काल
तुझ को... ले जाएगा काल.......
netra prasad gautam