कर्म की राह पर
डॉ.एच सी विपिन कुमार जैन "विख्यात"
कर्म की राह पर चलते जाना,
बिना रुके, बिना थके कभी।
अंतर में हो पाने की इच्छा,
तो मंज़िल भी मिलेगी तभी।
मेहनत की चाबी से ही खुलते,
सफलता के सारे ताले हैं।
जो आलस में डूबे रहते हैं,
उनके जीवन तो बस खाली हैं।
पसीना बहाना पड़ता है,
हर सपने को सच करने के लिए।
बिना परिश्रम के कुछ न मिलता,
यह सत्य है जीवन के लिए।
जिसके मन में है चाहत गहरी,
वो मुश्किलों से भी लड़ जाता है।
मेहनत का मीठा फल उसको,
एक दिन ज़रूर मिल जाता है।
इसलिए कभी न हारो हिम्मत,
अपनी इच्छा शक्ति को जगाओ।
मेहनत का फल तो निश्चित है,
बस अपने कर्मों पर विश्वास रखो।