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The Flower of WordThe Flower of Word by Vedvyas Mishra The Flower of WordThe novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra

कविता की खुँटी

        

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Dastan-E-Shayara By Reena Kumari Prajapat

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The novel 'Nevla' (The Mongoose), written by Vedvyas Mishra, presents a fierce character—Mangus Mama (Uncle Mongoose)—to highlight that the root cause of crime lies in the lack of willpower to properly uphold moral, judicial, and political systems...The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra

कविता की खुँटी

                    

जलवायु वही नहीं रहती - वेदव्यास मिश्र

जलवायु वही नहीं रहती,
मौसम भी वही नहीं रहता !!

कब चालीस से चवालीस हुआ,
ना जाने आगे क्या होगा ??

पौधे कम हो रहे दिनबदिन,
गाँव-आँगन वही नहीं रहता !!

बदलाव ज़माने की फ़ितरत है,
हमसफ़र भी वही नहीं रहता !!

ना दावा कभी किया करिये,
हम जवाँ ही रहेंगे ऐसे हरदम !!

है चाल नहीं रहती वही,
हालचाल वही नहीं रहता !!

लोरियाँ सुनाने नहीं आया,
ना ही जी बहलाने आया यहाँ !!

मेहफ़िल भी वही नहीं रहती,
अन्दाज़ वही नहीं रहता,

सपने भी बदलते रहते हैं,
पसंद वही नहीं रहता !!


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रचना के बारे में पाठकों की समीक्षाएं (10)

+

अशोक कुमार पचौरी 'आर्द्र' said

Suprabhaat Shriman acharya ji... aaj ka aagaz bada hi Sundar hua...aapki rachna bahut khoob kaha Rahi hai ..."change is only constant"

अशोक कुमार पचौरी 'आर्द्र' said

🙏🙏🙏🙏Pranam

वेदव्यास मिश्र said

अशोक कुमार पचौरी 'आर्द्र' भाई साहब, आपकी प्रतिक्रिया के खूबसूरत अनुमोदन से मेरी रचना को और भी धारदार और शानदार कर दिया है !! शुभाशीष सुप्रभात अनुज 💜💜

रीना कुमारी प्रजापत said

बदलाव ज़माने की फितरत है...... बहुत सुंदर रचना

वेदव्यास मिश्र said

रीना कुमारी प्रजापत जी, यह लाइन मेरे दिल के बहुत करकब है..शुक्रिया आपकी पारखी नज़र को 🙏🙏💜💜🙏🙏

वेदव्यास मिश्र said

रीना कुमारी प्रजापत जी, करकब × करीब

Muskan Kaushik said

परिवर्तन ही प्रकृति का नियम है आपने सही कहा👏👏

वेदव्यास मिश्र said

Muskan Kaushik जी, सही कहा मैम आपने 🙏 नमस्कार !!

Vineet Garg said

बदलाव को बहुत अच्छे ढंग से समझाया है आपने बहुत अच्छे 👏👏

वेदव्यास मिश्र said

Vineet Garg जी, आभार एवं अभिवादन आपकी हार्ट टचिंग प्रतिक्रिया के लिए 💜💜

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