भूलकर भी ना तुझे भूला सका
क्योंकि जहन से अपने
कभी ना तुम्हें मिटा सका।
आई याद तेरी बहुत आई ..
इस ज़माने के बेवफाई के बाद।
रोज़ रातों को उठकर
तुझे महसूस करता हूं
सो न सका कभी भी
क्योंकि सपनों में भी
सिर्फ़ तेरा हीं दीदार करता हूं ।
मैं तुझे प्यार करता हूं।
हैं मैं सिर्फ तुझे प्यार करता हूं,
बस यही इकरार करता हूं।
उठ चुका है भरोसा
इस दुनिया से मेरा..
इसलिए तुझपे
सिर्फ़ तुझपे ऐतबार करता हूं
मैं तुझे प्यार करता हूं ...
हैं मैं तुझे प्यार करता हूं...

The Flower of Word by Vedvyas Mishra
The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra



The Flower of Word by Vedvyas Mishra




