साँप से मोहब्बत नादानी का सौदा समझ।
वो कब डसेगा जब तूँ हो जाएगा नासमझ।।
रिश्तों की डगर में मासूमियत खोजता रहा।
मिल रहा उसका वज़ूद धीमा जहर समझ।।
हर हँसी के पीछे स्वार्थ का मुखौटा चिपका।
घात लगाए अपने लोग उसका असर समझ।।
हर किसी का डसने का तरीका अलग-अलग।
माफ़िक नही रिवाज किस्मत में कसर समझ।।
सोचा प्यार मिलेगा भ्रमजाल मिला 'उपदेश'।
फीकी हुई जुबान फिरकापरस्ती को समझ।।
- उपदेश कुमार शाक्यावार 'उपदेश'
गाजियाबाद

The Flower of Word by Vedvyas Mishra
The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra



The Flower of Word by Vedvyas Mishra




