सनम देखो मेरा बड़ा है अश्किया।
दिल लेकर हमको जख्म है दिया।।1।।
पता है मुझे उसकी मोहब्बत का।
इश्क़ है उसे मुझसे झूठा शर्तियाँ।।2।।
मजबूर है हम बड़े अपने दिल से।
ये नादाँ है जो करता है गलतियाँ।।3।।
डूब जाओगे इश्क़ के समन्दर में।
इसमें पाती ना साहिल कश्तियाँ।।4।।
इश्क़ बता ना पाया कोई आलिम।
मिट गई है देखो कितनी हस्तियाँ।।5।।
यह इश्क है आयेगा दिन मेरा भी।
आज तुम चला लो दिले-मर्जियाँ।।6।।
बंद कर लो हिज़ाब से अब चेहरा।
नज़रों में तेरी हैं गुस्ताख़ शोखियाँ।।7।।
कौन सा कहर ऐसा नाज़िल हुआ।
वीरान है सारी की सारी बस्तियाँ।।8।।
कोई भी गज़ब ना तेरी ये ज़िन्दगी।
रही है हमेशा से उल्फ़ते इश्कियाँ।।9।।
वाह खूब ही अदाकारी कर लेते हो।
लो पानी,झूठी तुम्हारी है हिचकियाँ।।10।।
होती है घरोंमें बरकतें जो ये होती है।
फिर भी जलायी जाती है लड़कियाँ।।11।।
ताज मोहम्मद
लखनऊ

The Flower of Word by Vedvyas Mishra
The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra



The Flower of Word by Vedvyas Mishra




