हर दिन संघर्ष भरा है...
राहों में चुनौतियाँ हैं बेशक्क,
हर रात बुनती हैं सपने...
जिनको सच करना है बेशक्क,
अब रोना क्या किस्मत पर...
मेहनत प्रतिज्ञा और त्याग पर चल,
बेश्क अब हो राहों में कांटे...
अपने लक्ष्य का ध्यान तो कर,
अपने लक्ष्य का ध्यान तो कर,
कवि राजू वर्मा
सर्वाधिकार अधीन है