सत्य का स्वर
शिवानी जैन एडवोकेटByss
विवेक वह वीणा है मन की, जो सत्य का मधुर स्वर सुनाती है,
भ्रम के कोलाहल में भी, सही राह का गीत सुनाती है।
यह अंतर की निर्मल वाणी, जो उचित और अनुचित का भेद करे,
लालच और मोह के बंधन से, आत्मा को सदा अभेद करे।
यह अनुभव की गहराइयों से उपजा, ज्ञान का निर्मल झरना है,
हर परिस्थिति को परखकर, उचित निर्णय ही करना है।
विवेक का प्रकाश हृदय में जले, तो अंधकार कभी न छाए,
जीवन की हर उलझन में, यह सच्चा पथिक बन राह दिखाए।

The Flower of Word by Vedvyas Mishra
The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra



The Flower of Word by Vedvyas Mishra




