कुदरत का कैमरा
प्रकृति से सुन्दर कुछ भी नहीं
सुबह-सुबह का दृश्य कुछ ऐसा होता है
उगते हुए सूरज की लालिमा
आसमाँ को दुल्हन की तरह सजाती है
पंछी सूरज की शान्त किरणों का लुफ्त उठाते हैं
उनकी चह-चाहट से सारा वातावरण ख़ुशनुमा हो जाता है
थोड़ी ही देर में सूरज की किरणें बादलों से झाँकने लगती हैं
तब पेड़-पौधे स्वर्ण की तरह चमकने लगते हैं
अदभुत मनोहर सा दृश्य देखने को मिलता है
कुदरत ने खूबसूरत प्रकृति तो बनाई ही
उसे देखने के लिए खूबसूरत कैमरा भी दिया हमारी आँखें
आँखों से खूबसूरत कैमरा कोई नहीं
कुदरत का बनाया यह कैमरा पिक्चर स्टोर नहीं कर सकता पर चित्र बहुत अच्छा खींचता है ॥
वन्दना सूद