विदा हम करे कैसे..रोते नयन से
दिल रो रहा है, आपके गमन से
शिक्षा की बगियाँ के, गुल-ए-गुलशन हो
चमन रो रहा है, आपके गमन से
ए क्लास की गलियों से,पुकार आ रही है
मेरे आशियाने में, कैसी कमी है,
नीरव शांति, फूट-फूट रो रही है
ए धाम रो रहा है, आपके गमन से
जब मैं सोचती हूँ, बिछड़ना है हमको
बिदाई की बेला,आ ही गई है
आंसू छलक के,पलकों पे छाएँ
दिल रो रहा है,आपके गमन से
काश कोई जिंदगी को, पीछे मोड़ देता
गुजरे हुए पल को, साथ जोड़ देता
ख़ुशी के जो पल थे, याद बन गए है
शब्द भी रोते, आपके गमन से
दर्द का तराना, तुमको न छुएं
स्नेहसागरमें, आप सदा खेले
दुआएं हमारी, संग-संग ले जा
दिल रो रहा है, आपके गमन से
विदा हम करे कैसे..रोते नयन से
दिल रो रहा है, आपके गमन से......