जो सुबह जागेगा
वह आगे बढ़ेगा
अच्छे से पढ़ेगा
ढंग से भी लिखेगा
हर पल खटेगा
शिखर भी चढ़ेगा
वही सफल रहेगा
चांद को भी छोएगा
जो सुबह नहीं जागेगा
वह आगे नहीं बढ़ेगा
आलसी होता जाएगा
न लिख न पढ़ पाएगा
उसके हाथ कुछ नहीं आएगा
आखिर बहुत पछताएगा
अपना हुनर हर चीज खोएगा
बाद में ये देख वह फिर रोएगा
बाद में ये देख वह फिर रोएगा.......
----नेत्र प्रसाद गौतम