तू किसको ढूंढ रहा है बंदे
खुदा तेरे अंदर हीं है।
क्यों व्यर्थ के समय गवाता मंदिर मस्जिद में
जब अल्लाह तेरे अंदर हीं है।
तू जब जब भी अच्छा सोंचता
अच्छा करता तो तू खुद हीं खुदा हो जाता है।
पाप का भय जब दूसरों की खातिर दिल में तेरे भर जाता है ।
उस समय तू फिर खुदा से जुदा हो जाता है।
तुझे कुछ समझ नहीं आता है।
तू फिर भटकता रहता है।
तू बंदना कर बंदिशें नहीं।
तू मदद कर रंजिशें नहीं ।
तू जब खुद के लिए खड़ा हो जायेगा
तू जब सबके हक़ के लिए लड़ पाएगा
तब देखना तू तेरा खुदा तेरा भगवान
तुझे ज़रूर मिल जाएगा।
फिर देव शिवालयों काबा काशी में क्या रक्खा है
सब तीर्थधाम तुझको तुझमें हीं नज़र आएगा...
सब तीर्थधाम तब तुझको तुझमें हीं नज़र आएगा...