सबसे बड़ा दुख दरिद्रता
जहाँ धर्म वहीं विजय
जहाँ धर्म वहीं सुख
जहाँ धर्म वहीं शान्ति
सब धर्मों को मानो एक समान
सब जाति को जानो एक समाज
हर प्राणी का सम्मान करो
सेवक को सदा संतुष्ट रखो
सबसे बड़ा दुख दरिद्रता
धनवान सदा रखे विनम्रता
मीठी वाणी ,पर्याप्त धन से सेवक का कल्याण करे
रामायण की सीख यही
रखे जो सेवक को प्रसन्न
संकट घड़ी न आए उन पर
जहाँ साथ सगे-सम्बन्धी का खोएँ
वहाँ साथ हमेशा उनका पाएँ..
-वन्दना सूद