कविता : लंबे नाखून....
एक दिन एक मैडम
से मेरा पाला पड़ा
उनके लंबे नाखून देख
मैं हुआ हैरान बड़ा
फिर मैं बोला, आप
बड़ी सुन्दर हैं ये सही है
मगर आप के लंबे नाखून
ये जरा भी सही नहीं है
आप का व्यवहार वैसे
भोला भाला सीधा सादा है
मगर ये लंबे नाखून से
किसे नोचने का इरादा है ?
दोनों हाथों के लंबे नाखून
काटोगे तो अच्छा हो जाएगा
आप के नाखून के अंदर
गंध - बंद भी रुक न पाएगा
अगर लंबे नाखून होंगे
उन पर कचरा फसेगा
वे कचरा निकालने में भी आप
को काफी समय लगेगा
फिर खाना खाते बखत
पांचों उंगली मुंह में जाएंगे
तब सारे के सारे कीटाणु
भी मुंह के अंदर ही आएंगे
इस लिए खास कर
आप से यही अर्जी है
आप के नाखून काटो या
रखो ये आप की मर्जी है
आप के नाखून काटो या
रखो ये आप की मर्जी है.......
netra prasad gautam

The Flower of Word by Vedvyas Mishra
The novel 'Nevla' (The Mongoose) by Vedvyas Mishra



The Flower of Word by Vedvyas Mishra




