मुट्ठी भर लोग ,
संसाधनों का भोग,
असाध्य रोग !
बेरोजगारी ,
विकासपथ बाधा,
उत्पात वृद्धि !
जनसंख्या का ,
प्रभावी नियंत्रण ,
संपन्न देश !
चुनाव युक्ति ,
धनबल बंधन ,
देश हित में !
भ्रष्ट प्रभुत्व ,
संवैधानिक जड़ें ,
रसातल में !
लूटघसूट,
करें मौसेरे भाई ,
बेबस दीन !
अहितकर ,
धर्म सांप्रदायिक ,
उकसाहट !
स्वतंत्रता है ,
अमूल्य धरोहर ,
संरक्षण हो !
आशा की किरण,
जीवंत है हमारा,
सुप्रीम कोर्ट !
✒️✒️✒️ राजेश कुमार कौशल