कैसी फितरत है ना लोगों की
कि जब कोई इंसान ज़िंदा होता है तब तो उसे
तवज्जो देते नहीं,
और मर जाता है जब वो तो उसकी तस्वीर को
बहुत संभाल के रखते हैं।
जब इंसान ज़िंदा होता है तब तो उसे तन्हा
कर देते हैं,
और उसके मरने के बाद उसे वापस पाने की
मन्नते करते हैं।
ये कैसी फितरत है......
कैसी फितरत है ना लोगों की
कि जब इंसान ज़िंदा होता है तो किसी ना किसी
वजह से वो सब की आंखों में खटकता रहता है,
और जब वो मर जाता है तो फिर
उसकी जुदाई में अश्क़ बहाते हैं।
जब इंसान ज़िंदा होता है तो
उसकी बुराईयाॅं गिनाते रहते हैं फिर चाहे उसने
कितना ही अच्छा काम किया हो,
लेकिन जब छोड़ जाता है वो दुनिया तो फिर
उसकी तारीफ़ों के पुल बांधते हैं।
ये कैसी फितरत है......
🖋️ रीना कुमारी प्रजापत 🖋️